शनिवार, 15 जनवरी 2011

परमाणु  बम से जूझती  हुई दुनिया  के लिए " अडिग'  का  सन्देश


मौत का बढ़ता हुआ सामान देखकर ,
दुनिया को बचाने की कुछ फ़िक्र कीजिये .


ज्ञान से  विज्ञान से तू  ये सवाल कर ,
दुनिया नहीं रही तो क्या करेंगे हम.


उम्मीद बच न पाएगी अटम की मार से ,
फिर भी दुआ करो की दुनिया बची रहे.


                                    ओमप्रकाश  " अडिग"

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